डुमरियागंजः …तो क्या कांग्रेस किसी भाजपाई दिग्गज को बनाएगी अपना उम्मीदवार

March 24, 2019 4:25 PM0 commentsViews: 2662
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नजीर मलिक

पूर्व सांसद मुहम्मद मुकीम

सिद्धार्थनगर।  डुमरियागंज लोकसभा सीट पर टिकट को लेकर कांग्रेस अंदरखाने में बड़ी कशमकश है। राजनीतिक जानकार तो इस सीट से पूर्व सांसद मुहम्मद मुकीम का टिकट तय मान रहे हैं, मगर कांग्रेस के अंदरखाने के सूत्र कहते हैं कि डुमरियागंज सीट से कांग्रेस एक बीजेपी नेता को टिकट देने जा रही है। अगर यह गणित फेल हुई तो ही पूर्व सांसद मुकीम यहां से कांग्रेस के उम्मीदवार होंगे। यही कारण है इस सीट पर अब तक कांग्रेस प्रत्याशी की घोषणा रुकी हुई है।

राजनीतिक विश्लेषकोंं की नजर में मुकीम मजबूत

राजनीतिक  विश्लेषक मानते हैं कि डुमरियागंज सीट से पूर्व सांसद मुकीम का टिकट अरसे से तय माना जा रहा था। उन्हें राहुल गांधी व सोनिया गांधी की तरफ से टिक का पूरा अश्वासन था। गोरखपुर के खाट कार्यक्रम के बाद तो राहल गांधी ने उनको उम्मीदवार बनाने का इरादा पक्का कर लिया था।  मगर अचानक राजनीतिक हालात बदलने लगे, फलतः कांग्रेस को भी नये सिरे से रणनीत बनानी पड़ी। अब कांग्रेस को टिकट को लेकर नये सिरे से सोचना पड़ रहा है।

पहले क्या सोच रही थी कांग्रेस?

दरअसल कांग्रेस का सोचना था कि  कि तीस प्रतिशत मुस्लिम वोटर वाले इस क्षे़त्र में कांग्रेस के परम्परागत 10 फीसदी वोट को जोड़ कर वह मुकीम साहब को आसानी से जिता ले जायेगी। सपा से माता प्रसाद पांडेय व भाजपा से एक अन्य हिंदू उम्मीदवार के उतरने पर कांग्रेस 40 फीसदी वोटों के साथ विजय मार्ग पर चल सकेगी।

दिक्कत कहां से हुई?

लेकिन दिक्कत यह हुई कि सपा बपा में गठबंधन हो गया। सीट बसपा के खाते में गई और बसपा ने यहां से आफताब आलम को उम्मीदवार बना दिया। दूसरी तरफ पीस पार्टी ने भी यहां से चुनाव लड़ने की बात शुरू कर दिया। ऐसे में कांग्रेस तीसरे मुस्लिम उम्मीदवार को उतार कर अपनी मिट्टी पलीद नही कराना चाहती। उसका मानना है कि गात चुनाव में बसपा कैंडीडेट के रूप में पूर्व सांसद मुकीम को 1 लाचा 95 हजार वोट मिले थे। जिसमें 17 फीसदी दलितों के 1 लाख वोट निकाल दिये जाये तो हालात बेहद खराब दिखते हैं।

क्या कहते हैं दिल्ली के सूत्र?

दिल्ली के सूत्र बताते है कि इसी सोच के मद्देनजर कांगेस आलाकमान ने यहां से किसी सवर्ण खास कर ब्राह्मण को उम्मीदवार बनानेकिी सोच रही है, मगर इके लिए कांग्रेस में कोई जनाधार वाला ब्राह्मण नही मिल रहा। इसलिए उसने भालपा के किसी सवर्ण नेता को तोड़ने का फसला किया। खबर है कि इसके लिए उसकी भाजपा के एक पूर्व विधायक से बात हो गई है। सूत्र तो यहां तक बताते हैं कि उक्त भाजपा नेता ने टिकट के आश्वासन कांग्रेस में शामिल होने की बात भी कर ली है।

 क्या है सूत्रों का दावा?

सूत्रों का दावा है कि उन्होंने पार्टी ज्वाइन भी कर ली है, मगर इसकी पुष्टि अभी नही हो पा रही है। लेकिन कांग्रेस की उस भाजपा नेता से बचल रही है, यह बिलकुल पक्का है। सूत्रों का कहना है कि कांग्रस ने भारत की सारी सीटों पर प्रत्याशी तय कर लिया है। परन्तु डुमरियागंज सहित देश की लगभग एक दर्जन सीटों पर ऐसे ही कारण से फैसला रुका हुआ है। बहरहाल अंतिम सच यह है कि इस सीट से किसी सवर्ण को लड़ाने के लिए जद्दोजहद चल रही है, लेकिन अगर यह रणनीति फेल हुई तो डुमरियागंज से पूर्व सांसद मुकीम का लड़ना तय जानिये। बनाये रखिए कपिलवस्तु  पोस्ट पर नजर।

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