तहसीलदार को धमकाने वाले लेखपाल सहित 3 को हत्या के प्रयास में जेल, 4 अन्य की तलाश जारी
मेराज़ मुस्तफा
इटवा, सिद्धार्थनगर। तहसील कोर्ट में दिन दहाड़े घुस कर हंगामा करने व तहसीलदार इटवा राजेश अग्रवाल को जान से मारने की धमकी देने के आरोप में इटवा पुलिस ने आरोपी लेखपाल सहित लड़के शुभम मिश्र व एक साथी बेचन को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है। इस मामले में चार अन्य आरोपी फरार हो गये हैं। पुलिस उनकी तलाश में लगी है। घटना कल की है जिसकी प्राथमिकी शुक्रवार को देर रात दर्ज की गई। उसके बाद गिरफ्तारी की प्रकिया शुरू की गई।
क्या है पूरा मामला?
ज्ञात हो कि इटवा तहसील क्षेत्र के एक निजी विद्यालय के बगल स्थित भूमि में सही ढंग से कानूनी प्रक्रिया का पालन न करने का आरोप तहसीलदार राजेश अग्रवाल ने निलंबित लेखपाल कमलेश मिश्रा पर लगाया था। उक्त घटना तकरीबन छह माह पूर्व की है जिसको लेकर अपर जिलाधिकारी सिद्धार्थनगर व उपजिलाधिकारी इटवा को उपरोक्त प्रकरण के जांच की जिम्मेदारी सौंपी गई थी। हाल ही में जांच के लिए नियुक्त दोनो उच्चाधिकारियों ने तहसीलदार राजेश अग्रवाल द्वारा लगाए गए आरोपों को सिद्ध हो जाने पर लेखपाल को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया था।
कल शुक्रवार को क्या हुआ
बताते हैं कि लेखपाल कमलेश मिश्रा ने शुक्रवार को हाईकोर्ट सम्बंधित एक पत्रावली की सुनवाई कर रहे थे तभी निलंबित लेखपाल कमलेश मिश्रा अपने पुत्र व पांच अन्य लोगों के साथ आकर अभद्रता करते हुए जान से मारने की धमकी दी और उन्हें कोर्ट में ही खींचने लगे। इस दौरान उन्हें हल्की चोट भी लगी। इस अपमानजनक हालत से गुजरे तहसीलदार राजेश अग्रवाल को मानसिक रूप से काफी आघात पहुंचा व वहीं अचेत हो गए।
तहसीलदार राजेश अग्रवाल के अचेत होने की सूचना पर तत्काल तहसीलकर्मियों ने उन्हें आनन-फानन में सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र इटवा पहुंचाया जहां प्राथमिक उपचार के बाद डॉक्टरों ने उनकी तबियत को सामान्य बताते हुए आवास पर आराम करने की हिदायत दी।
इटवा पुलिस ने दर्ज किया मुकदमा
देर रात्रि तहसीलदार इटवा राजेश अग्रवाल की तहरीर पर इटवा पुलिस ने निलंबित लेखपाल कमलेश मिश्रा पुत्र हरिहर मिश्रा, शुभम मिश्रा पुत्र कमलेश मिश्रा , बेचन व चार अन्य अज्ञात पर भा.द.वि.147 , 353 , 332 , 504 , 506 , 308 व वि.वि.क्रि.क. अधिनियम 1967 की धारा 7 के तहत मुकदमा दर्ज कर कानूनी कार्यवाई में जुट गई है।