तुम क्या गये चमन से बहारें चलीं गईं: कमाल की याद में मंच पर फफक पड़े नेता प्रतिपक्ष
नजीर मलिक
सिद्धार्थनगर। गुरुवार को पूर्वमंत्री और डुमरियागंज के हरदिल अजीज रहनुमा मलिक कमाल युसुफ की दूसरी बरसी मनाई जा रही थी। मंच पर बैठे हर शख्स की आंखें नम थी। जब भी कोई वक्ता उनके संघर्ष और जनसेवा से जुड़े किसी वाकये को बयान करता तो उसकी आंखे डबडबा उठती। और आखिर में जब उनके सबसे अजीज दोस्त और प्रदेश विधानसभा में विपक्ष के नेता माता प्रसाद पांडेय बोलने के लिए उठे तो संघर्ष की पहली कड़ी याद करते ही वह फफक पड़े। आंखों से सावन भादों की झड़ी इस कदर बरसी कि मजबूर होकर पांडेय जी को वापस कुर्सी पर बैठ जाना पड़ा।
कुर्सी पर बैठे शून्य को निहारते माता प्रसाद जी मानों कह रहे हों कि तम क्या गये चमन से बहारें चली गईं। कमाल साहब के बड़े बेटे इरफान पानी के ग्लास के साथ उन्हें सांत्वना देते रहे। क्या विडम्बना थी कि वह बेटा जो खुद सांत्वना का तलबगार था, वह माता प्रसाद जी जैसे बड़े व्यक्तित्व को संभाल रहा था और वह माता प्रसाद पांडेय जी जो संकट की घड़ी में सबको सांत्वना देते आये थे, कल खुद ही भाव विह्वल थे।
पीपुल इंटर कालेज के प्रांगण में आयोजित आदरांजलि सभा में पूर्व मंत्री रहे मलिक कमाल यूसुफ के अनेक साथी और शिष्य मौजूद थे। समाजवादी चिंतक दीपक मिश्रा ने तो उन्हें स्वर्गीय का संबोधन देने से इंकार कर दिया। कहा कि कमाल साहब जीवन भर क्रांति की लौ जलाते रहे। अतः भगत सिंह और आजाद की तरह उनको भी स्वर्गीय का दर्जा देना गलत है। कमाल साहब जैसे लोग अमर होते हैं, स्वर्गीय नहीं।
कमाल साहब के चुनावों में उनके सारथी की भूमिका में रहने वाले डा. मन्नान साहब बलरामपुर से आये थे। उन्होंने कहा कि व तो कांग्रेस के निरंकुश शासन के खिलाफ बिना किसी विचारधारा के यो ही कमाल साहब के साथ खड़े हो गये, मगर उनमें कलंदर की छवि दिखी तो फिर उन्हीं के होकर रह गये।
मसलन जो भी वक्ता आया वह कमाल साहब के फक्कड़पन, सादगी के साथ उनके संघर्षों की कहानियां बताता रहा। उन्को समझने के लिए नेता प्रतिपक्ष माता प्रसाद पांडेय के इन शब्दों पर गौर करिये, उन्होंने कहा कि कमाल साहब भले जमींदार परिवार के थे। मगर भूखे रह कर हमारे साथ आये दिन थाना कचहरी घेर कर जनता की लड़ाई लड़ते रहते थे। यही वह वाक्य था जिसके बाद वह भावुक हुए और उन्हें मजबूरन भाषण रोक कर बैठ जाना पडा।
सभा में कांग्रेस के जिलाध्यक्ष काजी सुहेल सहित सहित अजय यादव, घिसियावन यादव, डा. आफाक, शमीम यामीन मलिक, आदिने सम्बोधित किया। कार्यक्रम में नगर पंचायत अध्यक्ष प्रतिनिधि अतीकुर्ररहमान, मौलाना आजाद इंटर कालेज के प्रधानाचार्य मलिक मोहम्मद अहमद, प्रिसंपल अखलाक साहब, आदि भी हाजिर रहे। कार्यक्रम के आयोजन में सलमान मलिक, गुफरान मलिक, साकिब मलिक, माजिद मालिक, बबलू मलिक प्रधान आदि की भी भूमिका रही।