आधार कार्ड के चलते पौने दो लाख गरीबों को नहीं मिल पा रहा सरकारी गल्ला
निज़ाम अंसारी
शोहरतगढ़ सिद्धार्थनगर। खाद्द्यान गारंटी योजना के अंतर्गत उत्तर प्रदेश के लगभग तीन करोड़ रसन कार्ड धारकों में से लगभग 40 फीसदी गरीब विभाग के गैर जिम्मेदाराना रवैय्ये के कारण अपना राशन नहीं उठा पाए हैं। जिसका मुख्या कारण है पी ओ एस मशीन। यह मशीन ऑनलाइन रहती है और भारतीय आधार कार्ड संस्था से जुडी होती है। राशन कार्ड में अंकित मुखिया के आधार नम्बर को इस मशीन में डाला जाता है जिस पर अंगूठे का निशान लगाना पड़ता है निशान लगाने पर यदि आवाज आती है तो तो राशन कार्ड धारक को गल्ला दिया जाता है वरना नहीं |
अब तक सिद्धार्थ नगर जनपद में तीन लाख सैंतीस हजार कार्ड बन चुके हैं जिनमें आधे से ज्यादा कार्ड धारक बुजुर्ग होने के कारण उनके अंगूलियों का फिंगर प्रिंट नहीं लिया जा सकता है। जिस कारण उन्हें राशन के लिए महीनों तहसील और जिला मुख्यालयों के चक्कर काटने पड़ रहे हैं। कुछ इसी तरह से बीस प्रतिशत लोगों का आधार कार्ड इनएक्टिव हो जाने के कारण उन्हें राशन नहीं मिल पा रहा ह
अब तक सिद्धार्थ नगर जनपद में तीन लाख सैंतीस हजार कार्ड बन चुके हैं जिनमें आधे से ज्यादा कार्ड धारक बुजुर्ग होने के कारण उनके अंगूलियों का फिंगर प्रिंट नहीं लिया जा सकता है। जिस कारण उन्हें राशन के लिए महीनों तहसील और जिला मुख्यालयों के चक्कर काटने पड़ रहे हैं। कुछ इसी तरह से बीस प्रतिशत लोगों का आधार कार्ड इनएक्टिव हो जाने के कारण उन्हें राशन नहीं मिल पा रहा है
अधिकारीयों को यह बात पता होनी चाहिए थी की पी ओ एस मशीन का भविष्य कैसा होगा या आने वाले समय में कार्ड धारकों को क्या क्या समस्या आया सकती हैं। यदि भविष्य को ध्यान में रख कर कार्ड धारकों के पूरे परिवार वालों का आधार कार्ड लिंक करा दिया जाता तो आज आम लोगों को तहसील और जिला मुख्यालयों का चक्कर नहीं काटना पड़ता |
इस सम्बन्ध में स्थानीय पूर्ती निरीक्षक इन्द्रजीत यादव ने बताया की पी ओ एस मशीन के तहत जो दिक्कतें आ रही हैं उसके मद्दे नजर हमने सभी कोटेदारों को निर्देशित किया है की वह राशन कार्ड में दर्ज परिवार के सदस्यों का आधार कार्ड अपने कोटेदार को दे दें, जिससे कार्ड में लिंक हो जाए। लिंक होने के बाद परिवार का कोई भी सदस्य राशन का उठान कार सकता है।