दो स्वयंसेवी संस्थाओं के सदस्य मिलकर चलायेंगे सागरों को स्वच्छ करने का अभियान
संजीव श्रीवास्तव
सिद्धार्थनगर। सिद्धार्थनगर के कपिलवस्तु वेलफेयर सोसाइटी एवं नवोन्मेष (धीरज गुट) के सदस्य संयुक्त रुप से सागरों को स्वच्छ एवं साफ करने का अभियान चलायेंगे। इसकी शुरुआत 20 मार्च को मझौली सागर को साफ कर की जायेगी।
इस सिलसिले में नवोन्मेष के सचिव धीरज गुप्ता ने बताया कि भारत कृषि प्रधान देश है। सिद्धार्थनगर भगवान बुद्ध की धरती है। सिद्धार्थनगर का कालानमक चावल पूरे विश्व में अपनी महक और स्वाद के लिए प्रसिद्ध था, मगर आज किसानों का कालानमक धान से मोहभंग हो गया है।
इसका कारण यहां पर सिंचाई साधनों का अभाव है। आज का किसान कालानमक के विकल्प के बारे में सोच रहा है। उसके मन में यह सवाल उठने लगा है कि ऐसा कौन सा धान लगाया जाये, जो कम समय और कम पानी में तैयार हो जायें।
पहले इस जिले में पोखरे और तालाब के अलावा अंग्रेजों द्वारा किसानों की सुविधा के लिए सागर बनाये गये थे। जिससे सिंचाई कर किसान कालानमक पैदा करता था, मगर जैसे-जैसे समय बीता, सागरों के रख-रखाव पर ध्यान कम हो गया। जिससे सागरों का अस्तित्व मिटने के कगार पर है।
उन्होंने बताया कि इस समस्या को देखते हुए कपिलवस्तु वेलफेयर सोसाइटी और नवोन्मेष संयुक्त अभियान चलायेंगे। इसी कड़ी में नवोन्मेष के सदस्य 17 से 19 मार्च तक अलीगढ़वा, धनगढ़वा, ककरहवा, नोनहवा और बर्डपुर में नुक्कड़ नाटक के माध्यम से लोगों को जागरुक करेंगे और 20 मार्च को मझौली सागर की साफ-सफाई की जायेगी।