जफर अहमद बब्बू के बयान से विधायक सैयदा खातून व समूचा सपा संगठन सवालों के घेरे में
नजीर मलिक
सिद्धार्थनगर। नगर निकाय चुनावों के बबाद समाजवादी पार्टी की घनघोर पराजय के बाद अभीजिलास्तरीय नेता इस सदमें से दबर भी न सके थे कि डुमरियागंज नगर पंचायत के पूर्व चेयरमैन व सपा नेता जफर अहमद बब्बू ने अपनी ही पार्टी के विधायक और नेताओं पर कई खुला आरोप लगा कर पूरी पार्टी को ही सवालों के घेरे मे खड़ा कर दिया है। जफर अहमद के साथ कई अन्य निकाय प्रत्याशियों ने इशारों इशारों में कई नेताओं पर पार्टी प्रत्याशी के साथ भितरघात का आरोप लगा दिया है। इसको लेकर स्थानीय स्तर पर लोगों में जूतम पैजार शुरू हो गई है।
बताया जाता है कि इस चुनाव में सपा की करारी हार के बात ही जनमानस और सपा समर्थर्कों मे इस बात गुप चर्चा शुरू हो गई थी कि इस बार के चुनाव में समाजवादी पार्टी के कार्यकताओं में से बड़े हिस्से ने सपा प्रत्याशियों के साथ भितरघात किया। हालत यह रही कि स्वयं पार्टी के जिलाध्यक्ष लालजी यादव की बेटी पुनीता यादव का विरोध सपा की नौगढ़ विधानसभा क्षेत्र इकाई के कई पदाधिकारियों ने खुल कर किया। बताते है कि इन भितरघातियों को ॽएक पूर्व विधायक की शह मिली हुई थी।
लेकिन इस मामले में धमाका किया नगरपंचायत के निवर्तमान जफर अहमद बब्बू ने। उन्होंने मीडिया के माध्यम से सपा विधायक के करीबियों और डुमरियागंज के सपा संगठन पर खुलेआम आरोप लगायाकि उनकेविरोध के कारण ही उनकी अनुजबहू कहकशां परवीन की हार हुई है। बता दें कि डुमरियागंज सीट इस बार महिला के लिए रिजर्व होने के कारण जफर अहमद ने अपनी जगह अपनी अनुजबहू को चुनाव लड़ाया थ।
बहरहाल मडिया से बात करते हुए जफर अहमद ने कहा कि उनके चुनाव में विधायक सैयदा आपा के करीबियों ने उनका खुल कर विरोध किया। उन्होंने उन सारे करबियों के नाम लेकर गिनाये। उन्होंने कहा कि इसके अलावा विधानसभा क्षेत्र डुमरियागंज के संगठन के नेताओं ने भी उनका साथ् नहीं दिया। यदि सभी ने उनकी मदद की होती तो शायद नतीजा दूसरा होता और कहकशां की जीत होती।
जफर अहमद खुद भी क्षेत्रीय विधायक सैयदा खातून के बेहद करीबियों में शुमार होते हैं। अतः उनके इस बयान से समाजवादी राजनीति में खलबली हो गया। लेकिन किसी ने कुछ न कहा। लेकिन आखिर में समाजवादी पार्टी डुमरियागंज के वरिष्ठ नेता अजय यादव समाने आये और उन्होंने कहकशां परवीन की हार का दोष पलट कर जफर अहमद पर डालते हुए कहा कि उनका विरोध किसी ने नहीं किया। वे अपनी हार के खुद जिम्मेदार है। उन्होंने कहा कि वे चेयरमैन रहते जनता से पांच साल बिलकुल नहीं मिले। घर में रहने के बावजूद उन्होंने किसी फरियादी से मुलाकात कभी नहीं की। ऐसे में उनकी जीत के बारे में सोचना शेखविल्ली का ख्वाब पालना है। उनको अनर्गल प्रलाप बंद करना चाहिए।
बहरहाल डुमरियागंज में जफर अहमद के बयान के बाद धीरे धीरे अन्य प्रत्याशी भी खुल कर कहने लगे हैं कि सपा के लोगों ने भितरधात कर उनको हराया। सदर नागरपालिका क्षेत्र से पराजित उम्मीदवार राम सेवक लोधी कहते हैं कि उनके साथ जिन पदाधिकारियों ने दगा किया उनका नाम वे शीघ्र ही हाई कमान को देंगे। बासी, बर्डपुर आदि निकायों से भी सपा नेताओं द्धारा कथित कथितरघात की खबरें मिलने लगीं है और अब पार्टी द्रोह का मामला तूल पकड़ने लगा है।
शिकायत मिली तो जांच होगी- लालजी यादव
इस बारे में सपा के जिलाध्यक्ष और पूर्व विधायक लालजी यादव का कहना है कि इस प्रकार की बयानबयाजी सार्वजनिक रूप चित नहीं। इसके लिए उचित स्थान पार्टी फोरम है। यदि किसी के साथ पार्टी के पदाधिकारी न भितरघात किया है तो उन्हें इसकी लिखित जानकारी देनी चाहिए। पार्टी इसके अपने स्तर से जांच कर कार्रवाई करेगी। वैसे भी चुनाव के बाद समीक्षा बैठक में पूरे प्रकरण को देखा जाएगा।