सिद्धार्थनगर महोत्सव के रंग में भंग, अंतिम रात पांडाल में चली कुर्सियां, पुलिस को लेना पड़ा मोर्चा
नजीर मलिक
महोत्सव पांडाल में बिखरी पड़ी कुर्सियां
सिद्धार्थनगर। स्थानीय बीएसए ग्राउंड में आयोजित सिद्धार्थनगर महोत्सव की आखिरी शाम रंग में भंग हो गया। भोजपुरी गायिका अक्षरा सिंह के नाइट शो में बृहस्पतिवार रात गाने के बीच दर्शकों की भीड़ ने कुर्सी तोड़ना शुरू कर दिया। शोर शराबा शुरू हुआ तो भीड़ तितर-बितर करने के लिए पलिस को हवा में लाठियां भांजनी पड़ी। हालांकि मारपीट की नौबत नहीं आई।
10:30 बजे हुआ हंगामा
सिद्धार्थनगर महोत्सव में भोजपुरी अभिनेत्री अक्षरा सिंह का शो चल रहा था। रात तकरीबन 10:30 बजे गाने के बीच अचानक दर्शक शोर करने लगे और आगे बढ़ने लगे। कई लोग कुर्सियां भी तोड़ने लगे। इस पर पुलिस को हवा में डंडा भांज कर दर्शकों को धमकी देना पड़ा, तब कहीं जा कर शांति स्थापित हो सकी। बताया जाता है कि भोजपूरी गायिका को भोजपूरी नाइट के लिए बुलाया गया था, मगर जाने क्या हुआ कि उनका कार्यक्रम परिवर्तित कर “जागरण गीत” में बदल गया।
बताया जाता है कि दर्शक इससे अचानक रूष्ट हो गये और कुर्सियां तोड़नी और फेंकना शुरू कर दी। पांडाल में अराजकता की हालत बन गई। यह देख पुलिस ने मोर्चा संभाला तो भीड़ नियंत्रित हुई और विवाद की स्थिति खत्म हो गई। हालांकि इस दौरान मारपीट की बात सामने नहीं आई है। महोत्सव से जुड़े कर्मियों का कहना था कि दर्शकों ने उत्साह में आकर शोर शराबा करते हुए कुर्सियों को तोड़ना शुरू कर दिया था, जिस पर पुलिस को आगे आना पड़ा। इस मामले में कुछ सूत्रों का यह भी कहना है कि भाजपा जिलाध्यक्ष भी प्रशासन के तौर तरीकों से काफी दुखी थे। बता दें कि विगत वर्ष भी ऐसा ही हुआ था।
उद्घाटन समारोह में दिखा था बवाल
बता दें कि इस बार महोत्सव के उद्घटन समारोह में भी अव्यवस्था के चलते क्षेत्रीय सांसद जगदम्बिका पाल ने प्रशासन को जम कर खरी खोटी सुनाई। इससे उद्घाटन समारोह का मजा ही फीका पड़ गया। लोग बाग बताते हैं कि अफसर शाही के रुख के चलते जनता की भगीदारी महोत्सव से घटती जा रही है जिससे विगत कई सालों से महोत्सव का महत्व घटता जा रहा है।