Murder mistry: काल डिटेल से मिल सकता है रंजीत की हत्या का सुराग
हत्या का कोई मोटिव नहीं दिखता, लेकिन हालात बताते हैं कि
हत्यारा आस पास का ही है, अवैध सम्बंध प्का रकरण मुमकिन
नजीर मलिक
सिद्धार्थनगर। खेसरहा थाने के नचनी गांव निवासी 25 वर्षीय रंजीत की हत्या का सुराग उसकी लाश मिलने के ३६ घंटे बाद भी नहीं हो सका है। जाच के रंजीत के पिता राजकुमार के मुताबिक उनकी गांव में किसी से कोई दुश्मनी नहीं थी। जमीन जायदाद कर कोई विवाद भी नही थ। ऐसे में ले-देकर पुलिस के पास केवल मृतक का मोबाइल ही है, जिससे कुछ सुराग मिल सकता है।
मृतक रंजीत अपने घर से 13 दिन पूर्व लापता हुआ था। वह घर से गुअखा लेने की बात कह कर निकला था, तब से गायब था। गत दिवस उसकी लाश उसी के घर के पास के तालाब में जलकुंभियों की झाड़ के बीच बरामद हुई। लाश की सड़ी गली अवस्था और उसमें से निकल रही तीव्र दुर्गंघ से साफ पता चलता था कि रंजीत की मौत उसकी गुमशुदगी के दिन या उसके एक दो दिन के भीतर हुई है। मृतक की हत्या क्यों की गई, इस सवाल के जवाब में पुलिस के पास अभी केवल अनुमान ही है। कोई थियरी सामने नहीं आ पा रही है। रंजीत की शादी 4 साल पहले हुई थी। उसके बच्चे नहीं हो रहे थे। ऐसे में पत्नी से विमृख होना और किसी और से अवैध सम्बंध बना लेने की थियरी पर भी गौर किया जा सकता है। मुमकिन है कि अवैध संबंधों स खीज कर मलि पक्ष के किसी सउस् ने उसकी हत्या की हो?
दूसरी बात यह है कि रंजीत की लाश उसके घर के करीब के तालाब में पायी गयी है। इससे इस बात की संभावना अधिक है कि हत्यारे गांव के या आस पास के हैं। जो उसे तालाब के आस पास मार कर लाश को जलकुंभियों के बीच फेंक सकते हैं। लेकिन उसकी हत्या क्योंकि गई, इस बारे में कुछ भी आइडिया नहीं लगता। कोई भी मोटिव सामने नहीं आ पा रहा है। ऐसे में पुलिस की सारी आशायें उसके मोबाइल की काल डिटेल पर टिकी हुई हैं।
पुलिस ने रंजीत की लाश का पता भी उसकी मोबाइल की लोकेशन से ही लगाया है। ऐसे में अगर पुलिस उसकी मोबाइल के काल डिटेल को खंगाले तो कुछ संदिग्ध नम्बरों पर पूछताछ कर इस हत्या की सुरागरशी कर सकती है। इस संबंध थानाध्यक्ष शशांक सिंह का मानना है कि पुलिस टीम कई दिनों से तलाश में लगी थी। अंत में मोबाइल लोकेशन के आधार पर जलकुंभी भरे पोखरे में तलाशी अभियान चलाया गया। काफी मशक्कत के बाद आखिर शव बरामद कर लिया गया। अब उसकी काल डिटेल भी खंगाली जायेगी।