Exclusive- बाढ़ पीड़ितों में बँट रही प्लास्टिक के चावल की लाई, जाँच के लिए सेम्पल भेजा गया
— प्लास्टिक चावल की लाई वितरण की ख़बर प्रशासन में हड़कम्प, एसडीएम ने माना शिकायत मिली है, जाँच हो रही
नज़ीर मलिक
सिद्धार्थनगर। जिले के बाढ़ पीड़ितों को बंटने वाले सड़े आलुओं की चर्चा ख़त्म भी नहीं हुई थी की अब प्लास्टिक के बने चाइनीज चावल की लाई वितरण की खबर से हंगामा मच गया है। प्रशासन ने लाई का सेम्पल जांच के लिए भेज दिया है। इस घटना से प्रशासन में हड़कंप मचा हुआ है।
बताया जाता है कि बाढ़ पीड़ितों में वितरण के लिये ज़िला प्रशासन ने कानपुर की एक फर्म को लाखों रूपये की लाई (भूना) का आर्डर दिया था। ऑर्डर के बाद फर्म ने प्रशासन को लाई की सप्लाई कर दिया। उसके प्रयोग पर कुछ पीड़ितों ने स्वाद अलग बताया। मामले को नया मोड़ तब मिला, जब बसपा नेता सुरेंद्र मौर्या ने प्रशासन से लिखित शिकायत किया कि बाढ़ पीड़ितों को बांटी जाने वाली प्लास्टिक के चावल की है।
बीजेपी नेता मौर्य की शिकायत पर प्रशासन ने मामले को गंभीरता से लेते हुए लाई का सेम्पल ले कर उसकी जांच के लिए भेज दिया। इस मामले में एसडीएम सदर डॉ महेंद्र कुमार ने बताया कि उन्हें इस प्रकार की शिकायत मिली थी। जिसे जांच के लिए भेज दिया गया हैI। जब की फर्म के ठेकेदार ने मीडिया से कहा कि उसकी सप्लाई सही है। बहरहाल सच तो जांच के बाद ही सामने आएगा। फ़िलहाल आलू खरीद प्रकरण में घपले की चर्चा के बाद लाई प्रकरण ने प्रशासन को कटघरे में खड़ा कर दिया है।
क्या होता है चाइनीज़ चावल
बाजार में आज कल चाइना का चावल बेचा जा रहा है। ये देखने में असली चावल की तरह होता है और बनता भी पारम्परिक विधि से ही है। दुकानदार इसे नेपाल से तस्करी के द्वारा लाते है और असली चावल में मिला कर बेचते हैं। इससे उन्हें भारी मुनाफा होता है। इसकी लाई भी बनाई जाती है। ये चावल चीन ने बनाया है।