जनता की दुखती रग को छेड़ प्रियंका ने दिखाया राजनीतिक कौशल, चन्द्रेश के पक्ष में बांधा समां
नजीर मलिक
सिद्धार्थनगर। प्रियंका गांधी ने आज सिद्धार्थनगर जिला मुख्यालय पर अपने राजनीतिक कौशल का जबरदस्त परिचय दिया। इसी लिए उन्हें कहा जाता है कि “प्रियंका नही यह आंधी है, दूसरी इंदिरा गांधी है।“ पियंका ने आज जिस प्रकार जनता की दुखती रगों पर हाथ रखा, उससे अंदाजा लग रहा है कि वह जाति धर्म की राजनीति से हट कर वह जनता के सवालों को उठाने वाली इकलौती नेता अकेली नेता बनने की ओी अग्रसर हैं।
आज यानी शुकवार को प्रियंका गांधी अपने 40 मिनट के भाषण में जाति धर्म के बजाये केवल आम आदमी की बात करती दिखीं। उन्होंने जनता के हर वर्ग की परेशानी को सलीके से उठाया। प्रियंका ने किसानों के कर्जमाफी कार्यक्रम को निरंतर आगे बढ़ाने की बात तो की ही, उनने योगी यरकार में आवारा पशुओं से होने वाले नुकसान पर भी विस्तार से प्रकाश डाला। जिस पर पंडाल में काफी तालियां बजी।
प्रियंका यही तक नहीं रुकीं। उन्होंने पूंजीपतियों और मोदी सरकार के रिश्ते पर तंज कसा तो छोटे व्यापारियों के लिए जीएसटी को आसान करने का भरासा दिलाया। पढ़े लिखे युवाओं को 24 लाख रिक्त नौकरियों पर नियुक्ति की बात की तो मजदूरों के लिए मनरेगा योजना में 100 दिन के बजाएं 160 दिन काम देने की बात की। महिलाओं के लिए उन्होंने कहा कि न्याय योजना के तहत 72 हजार सालाना देकर उनकी गृहस्थी को सुधारने की बात की। और कहा कि चुनाव बाद हमारी सरकार बनते ही यह सब हो जायेगा। क्योंकि कांग्रेस झूठे वादे करने में यकीन नही करती है।
कांगेस का वोट बढ़ा गई प्रियंका गांधी
आज की जनसभा में प्रियंका ने जिस प्रकार लाति धर्म का समीकरण बनाने के बजाए आम आदमी का जिक्र किया, उससे कांग्रेस का वोट यहां यकीनन बढ़ेंगा। यहां योगी, अमित शाह, अखिलेश, मायावती आदि नेताओं ने जिस प्रकार अपने भाषणों में प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष रूप में जातीय, धार्मिक धुवीकरण का प्रयास किया, उनके मुकाबले प्रियंका ने राजनीति को धर्म से परे रख कर राजनीतिक शुचिता का यहसास तो कराया ही है।
नर्वदेश्वर शुक्ल के लिए बड़ा संकेत दे गईं प्रियंका
चुनावी मंच पर प्रियका गांधी केवल दो लोगों से मुखातिब हुईं। पहले पूर्व सांसद मुहम्मद मुकीम ने उन्हें अपना परिचय दिया तो प्रियंका ने उसका सकारात्मक जवाब दिया। इसके बाद वो बगल में बैठे पूर्व दर्जा प्राप्त मंत्री नर्वदेश्वर शुक्ल से खुद ही मुखातिब हुईं। बाद में पक्के सूत्रों ने बताया कि प्रियंका गांधी ने नर्वदेश्वर शुक्ल से कहा कि उन्हें मालूम है कि उनके साथ ज्यादती हुई है। प्रत्युत्तर में शुक्ल ने कहा कि वे कांग्रेस के सिपाही हैं। उन्होंने कभी लाभ की अपेक्षा ही नहीं की।
इसके बाद प्रियंका के सचिव धीरज श्रीवास्तव जो आईएएस अफसर रहे हैं, ने उनसे काफी देर तक बात की। राजनीतिक समझ वाले लोग इसका निहितार्थ समझ सकते हैं। संकेत साफ है कि सिद्धार्थनगर की राजनीति में नर्वदेश्वर शुक्ल को निकट भविष्य में महत्व मिलने वाला है।
एक नेता को आगे की कुर्सी से हटाया गया
प्रियका गांधी के लिए बने मंच पर अन्य लोगों की कुर्सियां एलाट थीं। उसमें एक पूर्व विधायक व काग्रेस के प्रदेश पदाधिकरी की कुर्सी प्रियंका की कुर्सी की कतार में आगे लगी थी। बताया जाता है कि पूर्व सांसद मो मुकीम ने इस पर एतराज जताया और यहां तक कह दिया कि यह कांग्रेस में रह कर कांग्रेस का विरोध करने वाले नेता अगर अगली कतार में बैठेंगे तो हम लोग यहां नहीं बैठेंगे। इसके बाद पूर्व विधायक जी को वहां से हटा दिया गया। इस घटना की जनता में बहुत चर्चा है।
चद्रेश की ताकत बढ़ी
प्रियंका गांधी की आज की सभा से डुमरियागंज सीट पर डा. चन्द्रेश जीतेगे या नहीं यह तो 23 मई को पता चलेगा। लेकिन प्रियंका के प्रभावशाली भाषण से कांग्रेस का वोट यकीनन बढ़ा है। आज की सभा में मुस्लिम औा ब्राह्मण समाज की खासी उपस्थिति गठबंधन व भाजपा उम्मीदवारों के लिए खतरे का संकेत माना जाना चाहिए।अगर ज्यादा मुस्लिम गये तो गठबंधन हारेगा वरना भाजपा की छृट्टी होनी तय है।