भ्रष्टाचारः एक बाढ़ व बरसात भी नहीं झेल पाई 44 करोड़ रुपये से बनी सड़क, होने लगी ध्वस्त
5 करोड़ के कैरेज की मिट्टी में किया गया घपला? पिच रोड में मानक की अनदेखी की गई? सपा नेता लाल जी यादव ने की जांच की मांग
नजीर मलिक
सिद्धार्थनगर। जिला मुख्यालय से लोटन को जोड़ने वाला सिद्धार्थनगर-लोटन मार्ग को 45 करोड़ रूपये की लागत से 6 महीने पहले बनाया गया था, मगर हाल की बाढ़ ने उसके निर्माण में कथित भ्रष्टाचार की कलई खेाल दी है, 19 किमी. लम्बे इस मार्ग की सड़क की पटरियां ही नहीं पिच रोड में स्थान स्थान पर कट गया है, जो इसके निर्माण की पोल खोल रहा है। इसलिए अब इसकी जांच की मांग जोर शोर से उठने लगी है।
पटरी ही नहीं पिच रोड भी कटी
सिद्धार्थनगर-लोटन वाया सोहांस मार्ग के निर्माण को बमुश्किल 6 माह ही बीते थे, मगर वह पहली बरसात का दबाव भी नहीं झेल पाया। 19 किमी की इस सड़क में तमाम स्थानों पर गडढे हो गये है। यही नहीं इस बार की बरसात और उसके बाद आई एक सप्ताह की बाढ़ ने सड़क को जगह-जगह क्षतिग्रस्त कर दिया है। पहली बरसात में जैसे पानी का दबाव बढ़ा तो सड़क की पटरी पूरी तरह से कट गयी। पटरी कटने के बाद सड़क की भी कटान शुरू हो गई। इस मार्ग पर सैलाब की आशंका के कारण ही इसकी पटरियों के निर्माण के लिए 5 करोड़ रुपये अतिरिक्त बजट दिया गया था ताकि कैरेज की मिट्टी डाल कर पटरी को मजबूत बनाया जा सके लेकिन अब आरोप लगाया जा रहा है कि स्थानीय रेतीली मिट्टी व सड़क के किनारे ही जैसीबी मशीन से खोदकर ही पटरी बना दी गई और 5 करोड़ का बंदरबांट कर लिया गया। सड़क का पिच भाग किस तरह क्षति ग्रस्त हुआ है इसे चित्र देख कर ही समझा जा सकता है। (देखें सड़क के दोनो चित्र)
किस पर लग रहे भ्रष्टाचाार के आरोप?
मालूम हो कि नौगढ़ से लोटन की दूरी लगभग 19 किमी है। इसके निर्माण पर 39 करोड खर्च किये गये थे। इसमें सड़क के साथ नाला निर्माण भी होना था। सड़क तो बन गयी, मगर नाला निर्माण अभी भी पूरा नहीं हुआ है। इसके अलावा पटरी निर्माण में प्रयुक्त होने वाली मिटटी के लिए पांच करोड़ अलग से अवमुक्त किए गये थे। इस प्रकार सड़क, नाला और पटरी पर कुल 44 करोड़ रूपये व्यय हुए। सड़क निर्माण के समय ही स्थानीय लोगों ने इसमें अनियमितता का आरोप लगाया था, मगर किसी ने ध्यान हीं नहीं दिया और आज सड़क निर्माण की हकीकत सबके सामने है। इस बारें में स्थानीय नागरिकों का कहना है कि ठेकेदार दो जनप्रतिनिधियों का बहुत करीबी था। इस कारण उसके खिलाफ की गयी सभी शिकायतें दब गयी। उक्त जनप्रतिनिधि के दबाव के कारण 39 करोड़ की भारी-भरकम रकम भ्रष्टाचार की दरियां में बह गया।
लालजी यादव ने उठाई जांच की मांग
इस बारे में समाजवादी पार्टी के जिला अध्यक्ष व पूर्व विधायक लाल जी यादव का कहना है कि वर्तमान में जिलाधिकारी द्वारा सड़क की स्वयं जाच कर अनियमितताएं पकड़ी गई है। जिसकी जनता में सराहना की जा रही है। ऐसे में यदि जिलाधिकारी स्वंय जांच में दिलचस्पी लें तो इस सड़क के निर्माण में बड़ा घोटाला सामने आ सकता है।
जिलाधिकारी ने कहा जांच होगी
इस सड़क के निर्माण के बारे में कथित आरोप को लेकर जब मीडिया कर्मी ने जिलाधिकारी राजा गणपति आर से जब पूछा गया तो उन्होंने इसकी जानकारी होने से इंकार कर दिया, मगर उन्होंने इसे गंभीर मामला मानते हुए कहा कि वह इस मामले में जांच करायेंगे और दोषियों को दंडित किया जायेगा।