नई पालिसी के तहत जिले के बीस वर्ष पुराने लगभग एक लाख वाहन शीघ्र घोषित होंगे कबाड़
कबाड़ घोषित होने वाले वाहनों मे कार, बाइक व ट्रक शामिल, बीस साल बाद उन्हें कबाड़ी के हाथ बेचने के अलावा नहीं होगा दूसरा विकल्प
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नजीर मलिक
जिले के वाहन मालिक अब अपने पुराने वाहनों को कबाड़ में डालने के लिए तैयार रहे। बढ़ते वायु प्रदूषण को कम करने के लिए शसन ने पुराने और धुआं फेंकने वाले वाहनों को काट कर स्क्रैप पालिसी के तहत कबाड़ बनाने का फैसला ले लिया है। शासन के फैसले के तहत 15 वर्ष पुराने वाले वाहन भंगार में काट दिए जाएंगे। फिलहाल एक अप्रैल से इस योजना को महानगर और मंडल मुख्यालय पर लागू करने की कवायद शुरू हुई है। दूसरे चरण में यह योजना जिलों में भी लागू होगी। पिछड़े जिलों में वाहनों को काट कर कबाड़ बनाने की अवधि 20 वर्ष संभव है।
सरकार सड़क हादसे को कम करने के लिए परिवहन में कई प्रकार के बदलाव कर रही है। अब बढ़ते हुए वायु प्रदूषण को देखते हुए धुआं उगलने वाले वाहनों का हटाने की तैयारी है। इसमें पहले वाहन स्वामियों को जागरूक किया जाएगा कि वे स्वयं वाहन को लेकर स्क्रैप में दे दें। इसके लिए समय सीमा भी निर्धारित की जाएगी। तय सीमा के बाद योजना लागू हो जाएगी कि अब इस अवधि से इस अवधि तक के वाहन नहीं चलेंगे। असका उल्लंधन करने पर भरी जुर्माने का प्रावधान किया जाएगा।
हालांकि अभी मक यह तय नहीं किया गया है कि जिले स्तर पर कितनी आयु वाले वाहनों को इस दायरे में रखा जाएगा। परन्तु कपिलवस्तु पोस्ट को पता चला है कि सिद्धार्थनगर समेत महाराजगंज, संतकबीर नगर, बस्ती, बलरामपुर आदि पिछड़े जिलों में कबाड़ घोषित होने वाले वाहनों की आयु सीमा रजिस्ट्रेशनथि से बीस वर्ष तक मान्य होगी। यीनी इअ ब बीस साल से धिक पुराना कोई वाहन सड़क पर नहीं चल सकेगा।
वाहन खरीद पर मिलेगी छूट
एआरटीओ विभाग के अधिकारी बताते हैं कि इस पॉलिसी में अगर वाहन कटेंगे तो वाहन स्वामी को एक प्रमाण पत्र दिया जाएगा। इसे दिखाने पर वाहन खरीदते समय छूट दी जाएगी। हालांकि अभी तक पांच प्रतिशत छूट की बात सामने आ रही है, लेकिन यह कम और अधिक भी हो सकती है। अगर पॉलिसी प्रभावी हुई तो जनपद में एक लाख से अधिक वाहन इस दायरे में आएंगे।
एआरटीओ अरुण प्रकाश चौबे ने कहा कि स्क्रैप पॉलिसी लागू होने जा रही है। फिलहाल अभी जनपद के लिए लागू करने के संबंध में आदेश नहीं आया है, लेकिन जल्द ही यहां पर भी लागू कर दिये जायेंगे।