भनवापुर ब्लाक प्रमुख के खिलाफ भाजपा के दो गुटों ने डीएम को दिया अविश्वास प्रस्ताव

August 3, 2017 4:14 PM0 commentsViews: 367
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––– प्रमुख पद पर कब्जे के लिए हिंदू युवा वाहिनी और भाजपा नेता आमने सामने

नजीर मलिक

डीएम को ज्ञापन देतीं लवकुश ओझा की पत्नी व बीडीसी मेम्बर शशिकला पांडेय और जिप्पी तिवारी की बीडीसी पत्नी संध्या तिवारी

सिद्धार्थनगर। समाजवादी पार्टी की ब्लाक प्रमुख को हटाने के लिए डीएम को सौंपे गये अविश्वास प्रस्ताव सम्बंधी ज्ञापन के दौरान आज पार्टी का अन्तर्विरोध खुल कर सामने आ गया। भाजपा के दो गुटों ने अलग-अलग ज्ञापन सौंपा। जिलाधिकारी कुणाल सिल्कू ने दोनों ही ज्ञापन को विचार के लिए स्वीकार कर लिया है। भनवापुर की  मौजूदा ब्लाक प्रमुख  श्रीमती बीना चौधरी सपा जिलाध्यक्ष झिनकू चौधरी की अनुज बहू हैं।

जानकारी के मुताबिक  आज गुरुवार को यहां कलक्ट्रेट परिसर में  काफी गहमागहमी रही। भाजपा के दो नेता अलग अलग गुट के रूप में जिलाधिकारी कुणाल सिल्कू को अविश्वास प्रस्ताव सम्बंधी ज्ञापन देने के लिए पहुंचे। एक गुट की अगुवाई भाजपा नेता व पूर्व विधायक जिप्पी तिवारी कर रहे थे जब कि दूसरे गुट की कमान हिंदू युवा वाहिनी के  नेता लवकुश ओझा कर रहे थे। लवकुश विधायक राघवेन्द्र सिंह के काफी करीबी माने जाते हैं।

सुबह करीब 11 बजे दोनों गुट ज्ञापन देने के लिए पंहुचे। पूर्व विधायक जिप्पी तिवारी के नेतृत्व में 56 बीडीसी मेंम्बरों ने   डीएम के सामने परेड किया। जबकि लवकुश ओझा की बारी में 55 सदस्य ने परेड की।  इस ब्लाक में कुल 106 बीडीसी मेंम्बर है।  इससे साफ है कि कुछ बीडीसी सदस्य दोनों गुटों की परेड में शामिल रहे। जिलाधिकारी ने दोनों के प्रस्ताव को स्वीकार कर लिया है। प्रस्ताव पर बैठक बुलाने की तिथि बाद में घोषित की जायेगी।

सांसद पाल को छोड़ सभी भाजपाई न्यूट्रल रहे।

आज  के इस खले में  भारतीय जनता पार्टी के स्थानीय सांसद जगदम्बिका पाल तो तौजूद नहीं थे। मगर उनके प्रतिनिधि राजू पाल के साथ सांसद के समर्थक अंत तक लवकुश ओझा के साथ डटे रहे। दूसरी तरफ पूर्व विधायक जिप्पी तिवारी के पक्ष में कोई जिम्मेदार भाजपा नेता नहीं दिखा। हां, भनवापुर के पूर्व ब्लाक प्रमुख माकन्डेय पांडेय व चंद प्रकाश मिश्र उनके समर्थन में जरूर रहे।

खामोश हैं दोनों विधायक

भनवापुर ब्लाक में दो विधानसभा क्षेत्रों इटवा व डुमरियागंज क्षे़त्र के कुछ हिस्से के बीडीसी शामिल हैं, मगर इस प्रतिद्धंदिता में दोनों विधायक, डुमरियागंज के राघवेन्द्र सिंह व  इटवा के डाक्टर सतीश द्धिवेदी बिलकुल तटस्थ बने हुए हैं।  इसके विपरीत सांसद पाल के खेमे की सहानुभति खुल कर लवकुश ओझा के साथ दिख रही है। दोनों विधायकों की इस चुप्पी का रहस्य किसी को समझ में नहीं आ रहा है।

अब इस जबरदस्त गुटबंदी के बाद भी अगर ब्लाक प्रमुख बीना चौधरी के खिलाफ अविश्वास पास हुआ तो उम्मीद है कि वहां ब्लाक प्रमुख के लिए भाजपा के दोनों  लोगों में चुनाव  होगा। लगता नहीं कि दोनों गुटों में से कोई किसी को वाक ओवर देने को तैयार होगा। इसलिए यह चुनाव बेहद  रोचक और रोमांचक होने की संभावना बताई जा रही है।

 

 

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