exclusive…जिला पंचायत के सभी 19 सामान्य वार्डों में पिछड़े निभाएंगे निर्णायक भूमिका

September 19, 2015 9:04 AM0 commentsViews: 172
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नजीर मलिक

chunavजिला पंचायत के सामान्य वार्डों में पिछड़ा वर्ग के मतदाता निर्णायक होंगे। सभी 19 सामान्य वार्डों में औसतन 45 प्रतिशत मतदाता पिछड़ा वर्ग के हैं। ऐसे में सामान्य क्षेत्रों में पिछड़ी जाति के प्रत्याशियों के लिए के लिए संभावनाओं के दरवाजे खुल गये हैं।

जिला पंचायत सिद्धार्थनगर द्धारा जारी निर्वाचन क्षेत्र सम्बंधी सूची के अवलोकन से रोचक जानकारियां सामने आयी हैं। जिसके मुताबिक प्रत्येक वार्ड में दलित और सामान्य मतों का योग 55 प्रतिशत है, जबकि पिछड़े मत अकेले 45 प्रतिशत हैं।  हालांकि जारी सूची में मतदाता के बजाए परिवार संख्या बताई गई है। फिर भी औसत निकालना कठिन नहीं है। सूची में अल्पसंख्यक परिवारों का हवाला नहीं दिया गया है।

सामान्य जिला पंचायत क्षेत्र संख्या एक में दलितों के 1093 परिवार हैं, तो सामान्य परिवारों की तादाद 3806 है। इसके मुकाबले पिछड़ा वर्ग परिवारांे की संख्या 3827 है। इसी प्रकार क्षेत्र संख्या 12 इटवा में  दलित परिवार 996, सामान्य 2770 और ओबीसी 3553 हैं।

वार्ड संख्या-19 डुमरियागंज में दलित परिवार 1404, सामान्य 2770, पिछड़ा 3325 है, तो वार्ड नम्बर 43 उस्का-नौगढ में यह तादाद क्रमशः 1301, 2712 व 3426 है। वार्ड संख्या 6 शोहरतगढ मे इन परिवारों की तादाद 1485, 2604 और 3426 है।

 इसी प्रकार 17 भनवापुर में 1146 दलित, 2569 सामान्य तथा 3133 परिवार ओबीसी हैं, तो 3-बर्डपुर में यह क्रमशः1436, 2536 और 3171 है। वार्ड संख्या 25- खुनियांव में दलित परिवारों की तादाद 1045, सामान्य की 2353 है, तो ओबीसी की संख्या 3834 है। 46-नौगढ़ में यह संख्या क्रमशः 1053, 2349 और 3572 बताई गई है।

क्षेत्र संख्या-4 बर्डपुर-शोहरतगढ़ में दलित परिवारों की तादाद 1334, सामान्य की 2248 और ओबीसी की 3924 है, तो क्षेत्र संख्या 9- बढ़नी में यह 1473, 1785 और 3614 बताई गई है। इसी प्रकार 44- नौगढ़ में दलित परिवारों की तादाद 1529, सामान्य की 1730 और ओबीसी की 3445 है।

इस तरह सभी 19 सामन्य वार्डों में पिछडों की भागीदारी अधिक है तो, उनकी भमिका निर्णायक तो होगी ही, उनके वर्ग के प्रत्याशी के लिए संभावनाएं भी बनी रहेंगी।

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