आधुनिक युग में विज्ञान के बिना जीवन की कल्पना नहीं- चिंतामणि

November 20, 2015 4:04 PM0 commentsViews: 689
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संजीव श्रीवास्तव

विज्ञान मेले में वैज्ञानिक सोच का प्रदर्शन करते छात्र

विज्ञान मेले में वैज्ञानिक सोच का प्रदर्शन करते छात्र

सिद्धार्थनगर के रघुबर प्रसाद जायसवाल सरस्वती शिशु मंदिर इंटर कालेज में आयोजित तीन दिवसीय ज्ञान- विज्ञान एवं सांस्कृतिक मेले के दूसरे दिन उपस्थित छात्र.- छात्राओं को संबोधित करते हुए भारतीय शिक्षा समिति पूर्वी क्षेत्र के प्रदेश निरीक्षक चिंतामणि सिंह ने कहा कि आधुनिक युग में विज्ञान के बिना जीवन की कल्पना बेकार है।

उन्होंने कहा कि विद्या भारती के विद्यालयों ने अपने कार्य और उसके परिणाम के आधार पर देश में अलग पहचान बना रखी है। विज्ञान की महत्ता पर प्रकाश डालते हुए उन्होंने कहा कि विज्ञान जब अध्यात्म से जुड़ता है, तब स्वर्ग की कल्पना करता है और जब राजनीति से जुड़ता है तो विध्वंस करता है।

आज सम्पूर्ण देश में विद्या भारती के 16 हजार विद्यालय है। जिनका हाईस्कूल एवं इंटरमीडियट परीक्षाओं में बोलबाला रहता है। यहीं कारण विद्या भारती के स्कूलों से पढ़े बच्चे किसी भी प्रतियोगी परीक्षाओं में पीछे नहीं रहते हैं।

प्रधानाचार्य बालकृष्ण सिंह ने कहा कि देश को उन्नति पर ले जाने के लिए विज्ञान की आवश्यकता होती है। विज्ञान वास्तबिकता को सामने लाता है। ज्ञान- विज्ञान मेले में सिद्धार्थनगर समेत गोरखपुर, बलिया, समेत कई जिलों के 350 बच्चे हिस्सा ले रहे है। जिन्होंने अपने माडलों के जरिए कई ज्वलंत मसलों पर प्रकाश डालने का प्रयास किया है।

इस अवसर पर अरविंद सिंह चौहान, विजय प्रकाश, शेषमणि मिश्र, उमेश मणि, विमलेश, बजरंग प्रताप सिंह, नागेश पांडेय, अशोक, संजीव सक्सेना, संतोष, महेन्द्र, द्विजेश पांडेय समेत योगेश कुमार श्रीवास्तव आदि की उपस्थिति रही।

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