Exclusive- हिंदू युवा वाहिनी के बागियों ने सीएम योगी के विरोध में बनाया समानांतर संगठन

May 14, 2018 3:32 PM0 commentsViews: 1074
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— बागियों को बैठक के लिये वीआईपी गेस्ट हाउस में जगह देने पर व्यवस्था अधिकारी आर पी सिंह सस्पेंड

— बगियों के फैसले के मुताबिक नये संगठन का नाम होगा “हिन्दू युवा वाहिनी भारत”

 

मनोज सिंह/अजीत सिंह

लखनऊ/गोरखपुर।.विधानसभा चुनाव 2017 के वक्त हिन्दू युवा वाहिनी से निकाले गए बागी नेताओं ने 13 मई को लखनऊ में हिन्दू युवा वाहिनी भारत नाम से नया संगठन बना लिया। सुनील सिंह इस संगठन के राष्ट्रीय  अध्यक्ष चुने गए हैं। नया संगठन बनाने के लिए बैठक लखनऊ  के वीवीआईपी गेस्ट हाउस में हुई। देर शाम इस बैठक के लिए कक्ष आवंटित करने पर गेस्ट हाउस के व्यवस्थाधिकारी आरपी सिंह को प्रदेश सरकार ने सस्पेंड कर दिया।

विधानसभा चुनाव 2017 के वक्त हिन्दू युवा वाहिनी के प्रदेश अध्यक्ष सुनील सिंह, प्रदेश महामंत्री रामलक्ष्मण  सहित एक दर्जन नेताओं को संगठन से निकाल दिया गया था। ये नेता भाजपा से टिकट न मिलने पर हिन्दू युवा वाहिनी से चुनाव लड़ना चाहते थे जबकि हिन्दू युवा वाहिनी के संरक्षक योगी आदित्यनाथ इसके विरूद्ध थे।

चुनाव लड़ने से मना करने पर ये नेता बगावत पर उतर आए। हिन्दू युवा वाहिनी से निकाले जाने पर इन्होंने एक दर्जन स्थानों पर शिव सेना के सिंबल पर उम्मीदवार उतार दिए। हालांकि किसी उम्मीदवार को सफलता नहीं मिली।

चुनाव बाद प्रदेश में भाजपा की सरकार बनने और योगी आदित्य नाथ के मुख्यमंत्री बनने के बाद इन बागी नेताओं को उम्मीद थी कि उन्हें संगठन में वापस ले लिया जाएगा। उन्होंने इसके लिए प्रयास भी किए लेकिन इनकी ‘ घर वापसी ’ नहीं हो सकी।

उधर हिन्दू युवा वाहिनी भी धीरे-धीरे निष्क्रिय होती गई क्योंकि संरक्षक योगी आदित्य नाथ का सख्त निर्देश था कि वे ‘ रचनात्मक कार्य ’ करें। अचानक भूमिका बदल दिए जाने और ‘ रचनात्मक कार्यों ‘ की कोई ‘ प्रेक्टिस ‘ नहीं होने के कारण हिन्दू युवा वाहिनी विभ्रम की शिकार हो गई। संगठन के संस्थापक नेताओं को बाहर कर दिए जाने का भी प्रभाव संगठन पर पड़ा।

 

संगठन के कार्यकर्ताओं में उत्साह कम होता गया जिसका सबसे बड़ा परिणाम गोरखपुर लोकसभा उपचुनाव में देखने को मिला। इस चुनाव में भाजपा प्रत्याशी हार गया। चुनाव परिणाम की समीक्षा में यह भी आया कि हिन्दू युवा वाहिनी चुनाव में उस तरह सक्रिय नहीं दिखी जैसी योगी आदित्यनाथ के चुनाव लड़ने के वक्त दिखती थी।

13 मई को लखनउ के वीवीआईपी गेस्ट हाउस में सुनील सिंह ने एक बैठक बुलायी बैठक में कई जिलों से हिन्दू युवा वाहिनी से जुड़े लोग उपस्थित हुए। सुनील सिंह ने दावा किया कि बैठक में 80 जिलों से प्रतिनिधि आए हुए थे। बैठक में कानपुर मंडल के प्रभारी शिवकुमार सिंह ने सुनील सिंह को राष्ट्रीय अध्यक्ष बनाने का प्रस्ताव रखा जिसे सर्वसम्मत से स्वीकार कर लिया गया। बैठक में विश्व हिन्दू महासंघ के पूर्व महासचिव अधिवक्ता प्रेमशंकर मिश्र ने संगठन के नए स्वरूप की प्रस्तावना रखी।

सुनील सिंह ने बताया कि जल्द ही संगठन का पूरे देश में विस्तार किया जाएगा। संगठन का ढांचा आधुनिक तरीके से तैयार किया जाएगा। देश के धर्माचार्यों व बुद्धि जीवियों से विचार-विमर्श कर राष्ट्रीय एवं प्रदेश इकाइयों का गठन किया जाएगा।

उन्होंने कहा कि हिन्दू युवा वाहिनी के कार्यकर्ताओं ने अपना सर्वस्व न्योछावर कर हिन्दू मान सम्मान और हिन्दू मान विंदुओं की रक्षा की है। हम वृहद हिन्दू समाज के विश्वास पर भविष्य में भी खरा उतरेंगे।

उन्होंने कहा कि किसी कीमत पर कार्यकर्ताओं का मनोबल गिरने नहीं दिया जाएगा। इसके लिए चाहे जो कीमत चुकानी पड़े। हमारे अथक प्रयास से हिन्दू विचारधारा वाली सरकारें बनती रही हैं लेकिन यह लक्ष्य की प्राप्ति नहीं हैं। हमारा लक्ष्य भारत को परम वैभव तक पहुंचाना है।

उन्होंने कहा कि राम मन्दिर का निर्माण होकर रहेगा। श्री कृष्ण जन्म भूमि और काशी विश्वनाथ भी आक्रान्ताओं की निशानी से मुक्त होंगे। देश में समान नागरिक संहिता लागू होगी, काश्मीर से धारा 370 हटेगा और गोवध पर पूर्ण प्रतिबंध लगेगा। पाश्चात्य सभ्यता का पूरी तरह निर्मूलन होगा और हम अपनी संस्कृति की स्थापना करके ही रहेंगे। हिन्दू युवा वाहिनी अपने लक्ष्य से भटक नहीं सकती। अब हिन्दुत्व और विकास के इस महाभियान का विस्तार पूरे भारत वर्ष में किया जाएगा।

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